



प्रियंका कुमारी(संवाददाता)
लव जिहाद के चर्चित मामले की पीड़ित युवती और आरोपित युवक के बीच अब तक चार मुकदमे दर्ज हो चुके हैं, लेकिन कोई नतीजा नहीं निकला है। शनिवार को वे दोनों फिर मीडिया के सामने आकर कैंट थाने में दर्ज सामूहिक दुष्कर्म केस में पुलिस द्वारा फाइनल रिपोर्ट (एफआर) लगाने पर आरोप-प्रत्यारोप करने लगे। युवती ने जांच अधिकारी पर गंभीर आरोप लगाया, जबकि युवक ने कहा कि मुकदमा फर्जी था। इसलिए पुलिस ने साक्ष्य के अभाव में खत्म कर दिया।
यह है पूरा मामला
बलिया से आकर प्रयागराज में रहने वाले युवती ने पिछले साल कर्नलगंज थाने में एफआइआर लिखाई थी कि मोहम्मद आलम ने अपना नाम अनुज प्रताप सिंह बताकर उससे प्रेम संबंध बनाया और कोर्ट मैरिज की। फिर उसे धर्म परिवर्तन के लिए धमकाया जाने लगा। इसी युवती ने कोखराज में भी गोली मारने का केस आलम और अन्य के खिलाफ दर्ज कराया। पिछले महीने युवती ने मोहम्मद आलम, उसके दोस्त और भाई के खिलाफ कैंट थाने में सामूहिक दुष्कर्म का मुकदमा लिखाया था।
शनिवार को आलम ने मीडिया के सामने आकर कहा कि मैं वकालत करता हूं। ब्लैकमेल करने के लिए मेरे खिलाफ फर्जी केस लिखाया गया था जिसमें जांच के बाद पुलिस ने फाइनल रिपोर्ट लगा दी। दूसरी तरफ खुद को पीड़ित बताने वाली युवती ने आरोप लगाया कि मुकदमे के विवेचक मोहम्मद अकरम खान ने उससे गलत नीयत से बात की। उनकी बात नहीं मानी तो केस में एफआर लगा दिया।