



विनीत माहेश्वरी (संवाददाता)चीनी मीडिया की रिपोर्टों के मुताबिक, 11 हजार 100 मीटर गहरा गड्ढा खोदने के पीछे की मंशा प्राचीन क्रेटासियस दौर की तह तक पहुंचना है। क्रेटासियस एक भूगर्भीय काल है। उम्मीद जताई जा रही है कि यह योजना 457 दिन में पूरी हो जाएगी। टेकलामकान रेगिस्तान में नौ किलोमीटर गहरा तेल का कुआं पहले से मौजूद है।चीनी मीडिया की रिपोर्टों के मुताबिक, 11 हजार 100 मीटर गहरा गड्ढा खोदने के पीछे की मंशा प्राचीन क्रेटासियस दौर की तह तक पहुंचना है। क्रेटासियस एक भूगर्भीय काल है। उम्मीद जताई जा रही है कि यह योजना 457 दिन में पूरी हो जाएगी। टेकलामकान रेगिस्तान में नौ किलोमीटर गहरा तेल का कुआं पहले से मौजूद है।चीनी मीडिया की रिपोर्टों के मुताबिक, 11 हजार 100 मीटर गहरा गड्ढा खोदने के पीछे की मंशा प्राचीन क्रेटासियस दौर की तह तक पहुंचना है। क्रेटासियस एक भूगर्भीय काल है। उम्मीद जताई जा रही है कि यह योजना 457 दिन में पूरी हो जाएगी। टेकलामकान रेगिस्तान में नौ किलोमीटर गहरा तेल का कुआं पहले से मौजूद है।चीनी मीडिया की रिपोर्टों के मुताबिक, 11 हजार 100 मीटर गहरा गड्ढा खोदने के पीछे की मंशा प्राचीन क्रेटासियस दौर की तह तक पहुंचना है। क्रेटासियस एक भूगर्भीय काल है। उम्मीद जताई जा रही है कि यह योजना 457 दिन में पूरी हो जाएगी। टेकलामकान रेगिस्तान में नौ किलोमीटर गहरा तेल का कुआं पहले से मौजूद है।चीन के 11 किमी से अधिक गहरा गड्ढा खोदने की अन्य वजह तेल और गैस का पता लगाना है। टकलामकान रेगिस्तान के बारे में कहा जाता है कि यहां तेल और प्राकृतिक गैस के भंडार हो सकते हैं।